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আল-কোৰআনুল কাৰীমৰ অৰ্থানুবাদ - আল-মুখতাচাৰ ফী তাফছীৰিল কোৰআনিল কাৰীমৰ হিন্দী অনুবাদ * - অনুবাদসমূহৰ সূচীপত্ৰ


অৰ্থানুবাদ ছুৰা: আত-তাওবাহ   আয়াত:
قَاتِلُوْهُمْ یُعَذِّبْهُمُ اللّٰهُ بِاَیْدِیْكُمْ وَیُخْزِهِمْ وَیَنْصُرْكُمْ عَلَیْهِمْ وَیَشْفِ صُدُوْرَ قَوْمٍ مُّؤْمِنِیْنَ ۟ۙ
(ऐ ईमान वालो!) इन मुश्रिकों से लड़ो। क्योंकि यदि तुम उनसे लड़ोगे, तो अल्लाह उन्हें तुम्हारे हाथों से दंडित करेगा, इस प्रकार की तुम उन्हें क़त्ल करोगे, उन्हें हार और क़ैद से अपमानित करेगा, और तुम्हें प्रबल करके तुम्हें उनपर विजय प्रदान करेगा, और उन ईमान वालों के सीनों की बीमारी, जो युद्ध में शामिल नहीं हुए, उनके दुश्मन की हत्या, क़ैद और पराजय, तथा उनपर विश्वासियों की जीत के साथ ठीक कर देगा।
আৰবী তাফছীৰসমূহ:
وَیُذْهِبْ غَیْظَ قُلُوْبِهِمْ ؕ— وَیَتُوْبُ اللّٰهُ عَلٰی مَنْ یَّشَآءُ ؕ— وَاللّٰهُ عَلِیْمٌ حَكِیْمٌ ۟
और अपने मोमिन बंदों के दिलों से क्रोध को, दुश्मनों पर उन्हें विजय प्रदान करके दूर कर देगा। तथा अल्लाह इन हठी लोगों में से जिसकी चाहता, तौबा क़बूल करता है, यदि वे तौबा करें, जैसा कि (मक्का पर) विजय के दिन मक्का के कुछ लोगों के साथ हुआ था। और अल्लाह उनमें से तौबा करने वालों की सच्चाई को भली-भाँति जानने वाला, तथा अपनी रचना, प्रबंधन और विधान में हिकमत वाला है।
আৰবী তাফছীৰসমূহ:
اَمْ حَسِبْتُمْ اَنْ تُتْرَكُوْا وَلَمَّا یَعْلَمِ اللّٰهُ الَّذِیْنَ جٰهَدُوْا مِنْكُمْ وَلَمْ یَتَّخِذُوْا مِنْ دُوْنِ اللّٰهِ وَلَا رَسُوْلِهٖ وَلَا الْمُؤْمِنِیْنَ وَلِیْجَةً ؕ— وَاللّٰهُ خَبِیْرٌ بِمَا تَعْمَلُوْنَ ۟۠
(ऐ ईमान वालो!) क्या तुमने समझ रखा है कि अल्लाह तुम्हें बिना परीक्षण के यूँ ही छोड़ देगा?! हालाँकि परीक्षण करना अल्लाह के नियमों में से एक नियम है। तुम्हारी परीक्षा होती रहेगी यहाँ तक कि अल्लाह तुममें से निष्ठापूर्वक जिहाद करने वालों को इस तरह जान ले कि वह ज्ञान बंदों के लिए प्रत्यक्ष और स्पष्ट हो, जिन्होंने अल्लाह, उसके रसूल और ईमान वालों को छोड़कर काफ़िरों में से रहस्यज्ञ और घनिष्ठ मित्र नहीं बनाए, जिनसे वे मित्रता और प्रेम का संबंध रखते हों। तथा तुम जो कुछ करते हो, अल्लाह उससे सूचित है, उसमें से कुछ भी अल्लाह से छिपा नहीं है और वह तुम्हें तुम्हारे कार्यों का बदला देगा।
আৰবী তাফছীৰসমূহ:
مَا كَانَ لِلْمُشْرِكِیْنَ اَنْ یَّعْمُرُوْا مَسٰجِدَ اللّٰهِ شٰهِدِیْنَ عَلٰۤی اَنْفُسِهِمْ بِالْكُفْرِ ؕ— اُولٰٓىِٕكَ حَبِطَتْ اَعْمَالُهُمْ ۖۚ— وَفِی النَّارِ هُمْ خٰلِدُوْنَ ۟
मुश्रिकों (बहुदेववादियों) के लिए योग्य नहीं है कि वे अल्लाह की मस्जिदों को इबादत तथा विभिन्न प्रकार की आज्ञाकारिता के साथ आबाद करें, जबकि जो कुछ वे कुफ़्र का प्रदर्शन करते हैं, उसके द्वारा वे स्वयं अपने विरुद्ध कुफ़्र की गवाही दे रहे हैं। उनके कर्म व्यर्थ हैं क्योंकि उनके क़बूल होने की शर्त नहीं पाई जाती है और वह (शर्त) अल्लाह पर ईमान है। वे लोग क़ियामत के दिन आग में प्रवेश करेंगे और हमेशा के लिए उसी में रहेंगे, सिवाय इसके कि वे अपनी मृत्यु से पहले बहुदेववाद से तौबा कर लें।
আৰবী তাফছীৰসমূহ:
اِنَّمَا یَعْمُرُ مَسٰجِدَ اللّٰهِ مَنْ اٰمَنَ بِاللّٰهِ وَالْیَوْمِ الْاٰخِرِ وَاَقَامَ الصَّلٰوةَ وَاٰتَی الزَّكٰوةَ وَلَمْ یَخْشَ اِلَّا اللّٰهَ ۫— فَعَسٰۤی اُولٰٓىِٕكَ اَنْ یَّكُوْنُوْا مِنَ الْمُهْتَدِیْنَ ۟
मस्जिदों को आबाद करने के योग्य और उसके हक़ को पूरा करने वाला केवल वही व्यक्ति है, जो अकेले अल्लाह पर ईमान रखता है और उसके साथ किसी को साझी नहीं बनाता है, तथा क़ियामत के दिन पर ईमान रखता, नमाज़ क़ायम करता, अपने धन की ज़कात देता और पवित्र अल्लाह के सिवा किसी से नहीं डरता है। तो यही वे लोग हैं, जिनके बारे में उम्मीद की जाती है कि वे सीधे रास्ते पर चलेंगे, और जहाँ तक बहुदेववादियों का सवाल है, तो वे इससे बहुत दूर हैं।
আৰবী তাফছীৰসমূহ:
اَجَعَلْتُمْ سِقَایَةَ الْحَآجِّ وَعِمَارَةَ الْمَسْجِدِ الْحَرَامِ كَمَنْ اٰمَنَ بِاللّٰهِ وَالْیَوْمِ الْاٰخِرِ وَجٰهَدَ فِیْ سَبِیْلِ اللّٰهِ ؕ— لَا یَسْتَوٗنَ عِنْدَ اللّٰهِ ؕ— وَاللّٰهُ لَا یَهْدِی الْقَوْمَ الظّٰلِمِیْنَ ۟ۘ
(ऐ बहुदेववादियो!) क्या तुमने हाजियों को पानी पिलाने वाले और मस्जिद-ए-हराम की देखभाल करने वाले लोगों को उस व्यक्ति की तरह बना दिया, जो अल्लाह पर ईमान लाया और उसके साथ किसी को साझी नहीं बनाया, तथा क़ियामत के दिन पर ईमान लाया और अपने जान-माल के साथ जिहाद किया, ताकि अल्लाह की बात सबसे ऊँची हो और काफ़िरों की बात सबसे नीची? क्या तुमने इन दोनों प्रकार के लोगों को अल्लाह के यहाँ प्रतिष्ठा में बराबर कर दिया?! वे अल्लाह के यहाँ कदापि बराबर नहीं हो सकते। और अल्लाह बहुदेववाद जैसे अत्याचार में पड़े हुए लोगों को सामर्थ्य नहीं देता, भले ही वे हाजियों को पानी पिलाने जैसे अच्छे काम करते हों।
আৰবী তাফছীৰসমূহ:
اَلَّذِیْنَ اٰمَنُوْا وَهَاجَرُوْا وَجٰهَدُوْا فِیْ سَبِیْلِ اللّٰهِ بِاَمْوَالِهِمْ وَاَنْفُسِهِمْ ۙ— اَعْظَمُ دَرَجَةً عِنْدَ اللّٰهِ ؕ— وَاُولٰٓىِٕكَ هُمُ الْفَآىِٕزُوْنَ ۟
जो लोग ईमान लाए तथा कुफ़्र की भूमि से इस्लाम की भूमि की ओर हिजरत की और अल्लाह के मार्ग में अपने धनों और प्राणों के साथ जिहाद किया, उनका दूसरों की तुलना में अल्लाह के यहाँ बहुत बड़ा पद है, तथा इन गुणों से सुसज्जित यही लोग जन्नत पाने में सफल होने वाले हैं।
আৰবী তাফছীৰসমূহ:
এই পৃষ্ঠাৰ আয়াতসমূহৰ পৰা সংগৃহীত কিছুমান উপকাৰী তথ্য:
• في الآيات دلالة على محبة الله لعباده المؤمنين واعتنائه بأحوالهم، حتى إنه جعل من جملة المقاصد الشرعية شفاء ما في صدورهم وذهاب غيظهم.
• इन आयतों में इस बात का प्रमाण है कि अल्लाह अपने मोमिन बंदों से प्रेम करता है और उनकी देखभाल करता है। यही कारण है कि उसने शरीयत के उद्देश्यों में मोमिनों के दिलों की बीमारियों को ठीक करना और उनके क्रोध को दूर करना भी शामिल किया है।

• شرع الله الجهاد ليحصل به هذا المقصود الأعظم، وهو أن يتميز الصادقون الذين لا يتحيزون إلا لدين الله من الكاذبين الذين يزعمون الإيمان.
• अल्लाह ने जिहाद को इस महान उद्देश्य को प्राप्त करने के लिए निर्धारित किया है कि केवल अल्लाह के धर्म का पक्ष धरने वाले सच्चे लोग, उन झूठे लोगों से अलग हो जाएँ जो ईमान का दावा करते हैं।

• عُمَّار المساجد الحقيقيون هم من وُصِفوا بالإيمان الصادق، وبالقيام بالأعمال الصالحة التي أُمُّها الصلاة والزكاة، وبخشية الله التي هي أصل كل خير.
• मस्जिदों के सच्चे आबाद करने वाले लोग वे हैं, जो सच्चा ईमान रखते और अच्छे कार्य करते हैं, जिनमें सबसे प्रमुख नमाज़ और ज़कात है, तथा अल्लाह का भय रखते हैं, जो हर अच्छे कार्य का आधार है।

• الجهاد والإيمان بالله أفضل من سقاية الحاج وعمارة المسجد الحرام بدرجات كثيرة؛ لأن الإيمان أصل الدين، وأما الجهاد في سبيل الله فهو ذروة سنام الدين.
• जिहाद और अल्लाह पर ईमान, हाजियों को पानी पिलाने और मस्जिद-ए-हराम को आबाद करने से कई गुना बेहतर है। क्योंकि ईमान ही धर्म का मूल है, और जहाँ तक अल्लाह के मार्ग में जिहाद की बात है, तो वह धर्म की बुलंदी का शिखर है।

 
অৰ্থানুবাদ ছুৰা: আত-তাওবাহ
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আল-কোৰআনুল কাৰীমৰ অৰ্থানুবাদ - আল-মুখতাচাৰ ফী তাফছীৰিল কোৰআনিল কাৰীমৰ হিন্দী অনুবাদ - অনুবাদসমূহৰ সূচীপত্ৰ

তাফছীৰ চেণ্টাৰ ফৰ কোৰানিক ষ্টাডিজৰ ফালৰ পৰা প্ৰচাৰিত।

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